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क्या है नागरिकता संशोधन कानून , सीएए कानून के प्रावधान क्या है ,नागरिकता संशोधन अधिनियम 2019 के तहत नागरिकता के लिए आवेदन करने की प्रक्रिया क्या है ?

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नमस्कार मित्रों,

आज के इस लेख में  हम जानेंगे कि " क्या है नागरिकता संशोधन कानून , सीएए कानून के प्रावधान क्या है ?" और भी इस कानून से जुडी अन्य बातों को।  

 देश में सरकार द्वारा नागरिकता संशोधन अधिनियम लागु कर दिया गया है। इस नागरिकता संशोधन अधिनियम के प्रावधानों के तहत पाकिस्तान , बांग्लादेश या अफगानिस्तान के हिन्दू या सिख या बौद्ध या जैन या पारसी या ईसाई समुदाय से है तो इस अधिनियम के प्रावधानों के अंतर्गत नागरिकता के लिए आवेदन करने के लिए पात्र होंगे लेकिन इसके लिए इन्हे अधिनियम के तहत बताई गयी सभी औपचारिकताएँ  पूर्ण करनी होगी। 

उपरोक्त वर्णित नागरिकों को भारतीय मूल की नागरिकता पाने के लिए अधिनियम के प्रावधानों के तहत पात्रता की श्रेणी में होना होगा और आवेदन ऑनलाइन फॉर्म के जरिये दाखिल किये जायेंगे और सहायक दस्तावेजों और पॉपपोर्ट और वीजा या आवासीय परमिट दस्तावेजों को अपलोड करना होगा। 

इस नागरिक संशोधन अधिनियम को  लेकर आप लोगो के मन में कई सवाल उठ रहे होंगे जैसे कि :-
  1. नागरिक संशोधगन अधिनियम 2019 क्या है ?
  2. भारतीय नागरिकता की प्राप्ति कैसे होगी ?
  3. नागरिकता के लिए देशियीकरण द्वारा किस देश के किन लोगो को आवेदन करना होगा ?
  4. नागरिकता के लिए लगने वाले आवश्यक दस्तावेज क्या है ? 
  5. नागरिकता संशोधन अधिनियम 2019 के तहत नागरिकता के लिए आवेदन करने की प्रक्रिया क्या है ?
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इन सभी सवालों के जवाब विस्तार से जाने। 

1 नागरिक संशोधन अधिनियम 2019 क्या है ? 

नागरिक संशोधन अधिनियम 2019 में देशीयकरण द्वारा नागरिकता का प्रावधान किया गया है। इस अधिनियम के तहत भारतीय नागरिकता प्राप्ति के लिए आवेदन के लिए एक विशेष प्रावधान किये गए।  यह प्रावधान विशेष रूप से उन कुछ व्यक्तियों के लिए है, जो 31 दिसंबर ,2014 को या उससे पहले भारत में प्रवेश कर चुका है और भारत के तीन पडोसी देश पाकिस्तान या अफगानिस्तान या बांग्लादेश के छह धार्मिक अल्पसंख्यक हिन्दू या सिख या बोध या जैन या पारसी या ईसाई समुदाय से है। 

नागरिकता संशोधन अधिनियम 2019 के तहत पाकिस्तान या अफगानिस्तान या बांग्लादेश के गैर मुस्लिम प्रवसियों  जिनमें हिन्दू, सिख, जैन, बौद्ध, पारसी और ईसाई समुदाय के लोगो को भारतीय नागरिकता प्रदान की जाएगी। 

2. भारतीय नागरिकता की प्राप्ति कैसे होगी ?

भारतीय नागरीकता प्राप्ति के लिए नागरिकता अधिनियम 1955 में निम्नलिखित प्रावधानों का उल्लेख किया गया है , जिसके अंतर्गत भारतीय नागरिकता प्राप्त की जा सकती है :-
  1. धारा 3 के तहत जन्म से नागरिकता। 
  2. धारा 4 के तहत वंशानुक्रम द्वारा नागरिकता। 
  3. धारा 5 के तहत पंजीकरण द्वारा नागरिकता। 
  4. धारा 6 के तहत देशयीकरण द्वारा नागरिकता। 
  5. धारा 7 के तहत भू -भाग के समावेशन द्वारा नागरिकता। 
3 . नागरिकता संशोधन अधिनियम 2019 के तहत देशीयकरण के द्वारा किन लोगो को भारतीय नागरिकता के लिए आवेदन करना होगा ? 

नागरिकता अधिनियम 1955  की धारा 6 (1 ) देशीयकरण द्वारा भारतीय नागरिकता प्राप्ति का प्रावधान करती है।  देशीयकरण द्वारा नागरिकता के लिए विदेशी व्यस्क व्यक्ति जिसनें भारत में देशीयकरण के आवेदन करने से पूर्व कम से कम 12 साल तक भारत में निवास किया हो। 

नागरिकता संशोधन अधिनियम 2019 के अंतर्गत आने वाले व्यक्ति नागरिकता अधिनियम 1955 की धारा 6 बी के तहत आवेदन करना होगा। 

भारत के तीन पडोसी देश पाकिस्तान या अफगानिस्तान या बांग्लादेश से गैर मुस्लिम प्रवासी जो छह धार्मिक  हिन्दू, सिख, बौद्ध, जैन, पारसी और ईसाई समुदाय से सम्बंधित है। जिन्होंने 31 दिसंबर 2014 को या उससे पहले भारत में प्रवेश किया है। 

जिसे पासपोर्ट (भारत में प्रवेश ) अधिनियम 1920 की धारा 3 (2 ) (सी ) के तहत या विदेशी अधिनियम 1946 के प्रावधानों या उसके तहत बनाये गए किसी नियम या आदेश से छूट दी गयी है। 

4. नागरिकता के लिए लगने वाले आवश्यक दस्तावेज क्या है ?

नागरिकता संशोधन अधिनियम 2019 के तहत नागरिकता प्राप्ति के लिए निम्न दस्तावेजों का उल्लेख किया है जो कि  :-
  1. आवेदक की नवीन फोटो। 
  2. हस्ताक्षर की फोटो। 
  3. पासपोर्ट ( एक्सपायर्ड पासपोर्ट सहित ) फ्रंट पेज और बायो पेज दोनों। 
  4. निवास प्रमाणपत्र। 
  5. अन्य दस्तावेज। 
उपरोक्त दस्तावेज ऑनलाइन आवेदन के समय अपलोड किये जायेंगे।  

5. आवेदन पत्र की हार्ड कॉपी के साथ लगाए जाने वाले दस्तावेज। 
  1. वैध विदेशी पासपोर्ट की प्रतिलिपि। 
  2. वैध आवसीय परमिट की प्रतिलिपि।  
  3. स्वयं माता पिता में से किसी एक का अविभाजित भारत में जन्म प्रमाण पत्र , पासपोर्ट या जन्म प्रमाण पत्र की एक प्रति। 
  4. उसके पति/पत्नी की भारतीय रास्ट्रीयता का प्रमाण -भारतीय पासपोर्ट या जन्म प्रमाण पत्र की प्रतिलिपि। 
  5. भारतीय विवाह पंजीयक द्वारा  गया विवाह प्रमाण पत्र की एक प्रति। 
  6. नागरिकता अधिनियम की धरा 6 की उपधारा 1 या धारा  5 की उप धारा 1  क के तहत जारी की गयी भारतीय नागरिकता या पासपोर्ट या जन्म प्रमाण पत्र की प्रति। 
  7. भारतीय नागरिकता अधिनियम 1955 की धारा  7 क के तहत OCI कार्ड धारक के रूप में पंजीकरण का प्रमाण पत्र। 
  8.  स्वयं आवेदक से एक हलानामा और दो भारतियों से दो हलफनामे जो आवदेक के चरित्र को आवदेन पत्र में उपलब्ध भाषा में प्रमाणित करते है। 
  9.  संविधान की आठवीं अनुसूची में विनिर्दिष्ट भारतीय भाषाओं  किसी एक में आवेदक के ज्ञान को प्रमाणित करने के लिए दो भाषा पत्र ( मान्यता प्राप्त शिक्षण संस्थाओं से या किसी मान्यता प्राप्त संगठन से या आवेदक के जिले के दो भारतीय नागरिकों में एक भाषा प्रमाण पत्र ) 
  10. दो समाचार पत्र ( जिस जिले में आवेदक निवास करता है वहां प्रचलित ) के अलग -अलग  तिथियों या अलग-अलग समाचार पत्रों की कटिंग ( आवेदन पत्र में निर्धारित भाषा में नागरिकता के लिए आवेदनकरने के लिए अपने इरादे को सूचित करते हुए)। 

6. . नागरिकता संशोधन अधिनियम 2019 के तहत नागरीकता प्राप्ति के लिए आवेदन करने की प्रक्रिया क्या है ? 

नागरिकता संशोधन अधिनियम 2019 के तहत नागरिकता प्राप्ति के लिए आवेदक सरकार की अधिकृत वेबसाइट भारतीय नागरिकता ऑनलाइन पोर्टल के जरिये आवेदक नामित अधिकारी के माध्यम से अधिकार प्राप्त समिति को ऑनलाइन फॉर्म भर कर आवेदन जमा करना होगा। 

आवेदन करते समय आवेदक को अपनी श्रेणी के अनुसार दर्शाये गए प्रत्र संख्या को चुन कर फॉर्म भरना होगा। 

पात्र व्यक्तिओं की श्रेणी और प्रपत्र संख्या। . 

नागरिकता संशोधन अधिनियम 2019 के प्रावधानों के तहत पात्र व्यक्तियों की श्रेणी का उल्लेख किया गया है , साथ ही साथ उन प्रपत्र संख्या का उल्लेख भी है जो आवेदन  के लिए भरा जाना है ,जो कि  निम्न प्रकार से है :-
  1. IIA- भारत के नागरिक के रूप में पंजीकरण के लिए मूल व्यक्ती। 
  2. IIIA- भारत के नागरिक के रूप में पंजीकरण के लिए एक व्यक्ति जिसने भारत के नागरिक से विवाह किया है। 
  3. IVA -भारत के नागरिक के रूप में पंजीकरण के लिए जो भारत के नागरिक है , की नाबालिग संतान है। 
  4. VA -भारत के नागरिक के रूप में पंजीकरण के लिए एक व्यक्ति जिसके माता-पिता भारत के रूप में पंजीकृत है। 
  5. VIA -भारत के नागरिक के रूप में पंजीकरण के लिए एक एक व्यक्ति जो या  में से कोई एक स्वतनयतर भारत का नागरिक था। 
  6. VIIA -एक व्यक्ति जो भारत के प्रवासी नागरिक कार्ड होल्डर (OCI ) के रूप में पंजीकृत है , भारत  के रूप में पंजीकरण के लिए। 
  7. VIIIA -देशीयकरण द्वारा नागरिकता प्रदान करने हेतु। 
आवेदक उपरोक्त सम्बंधित फॉर्म को ऑनलाइन भर सकता  है और फॉर्म में उल्लिखित सभी आवश्यक दस्तावेजों को अपलोड / संलग्न कर एवं 50/- रूपये शुल्क का  भुगतान कर सकता  है।  

आवेदन फॉर्म भरे जाने के चरण में ही ,आवेदक पंजीकरण प्रमाणपत्र या देशीयकरण प्रमाणपत्र की स्याही से हस्ताक्षरित प्रति प्राप्त करने का विकल्प चुन सकता है। 

प्रमणपत्र की स्याही हस्ताक्षरित प्रति आवेदक को तभी जारी की जाएगी जब उसने आवेदन पत्र भरे जाने के चरण में इसका विकल्प चुना हो। 

आवेदन जमा करने पर इलेक्ट्रॉनिक रूप से एक पावती आवेदक को उपलब्ध हो जाएगी। 

7. .नागरिकता के लिए ऑनलाइन आवेदन जमा करने के बाद क्या होगा किसके पास जाना होगा ? 

1. नागरिकता संशोधन अधिनियम 2019 के तहत नागरिकता प्राप्ति की के लिए ऑनलाइन भरे गए आवेदन पत्र की हार्ड कॉपी उस क्षेत्र के जिला कलेक्टर / जिला मजिस्ट्रेट /  उपायुक्त के कार्यालय में जमा करना होगा जहाँ आवेदक सामान्य रूप से निवासी है।  यदि आवेदक भारत से बाहर रह रहा है , तो आवेदन का प्रिंटआउट भारत के महावाणिज्य दूत को जमा करना होगा। 

आवेदन जमा करने के बाद जिला स्तरीय समिति (DLC) द्वारा फॉर्म की जाँच की जाएगी। 

फॉर्म की जाँच के बाद DLC आवेदक को  ई  मेल / SMS के माध्यम से उस तारीख और समय के बारे में सूचित करेगा , जिस पर आवेदक से सत्यापन के लिए आवेदन के साथ संलग्न सभी दस्तावेजों के मूल के साथ व्यक्तिगत रूप से डी:LC के समक्ष उपस्थित होना होगा। 

जाँच / सत्यापन की प्रक्रिया के बाद , यदि दसितावेज कम पाए जाते है , तो नामित अधिकारी उस आवेदक को "निष्ठा की शपथ " दिलायेगा , जिसने धारा 5 के तहत पंजीकरण या धारा  6 के तहत देशीयकरण द्वारा नागरिकता प्राप्त करने के लिए आवेदन किया है। 

यदि दस्तावेज में कोई कमी है तो जिला स्तरीय समिति आवेदक को दस्तावेज उपलब्ध कराने के लिए कह सकती है। 

यदि आवेदक उचित अवसर देने के बाद भी निष्ठा की शपथ लेने के लिए व्यतक्तिगत रूप से उपस्थित होने में विफल रहता है तो DLC ऐसे आवेदन को अस्वीकृत करने के विचार क्व लिए EC को अग्रेषित कर सकती है। 

आवेदक को अधिनियम की धारा 5 पंजीकरण या धारा 6 देशीयकरण के लिए निष्ठा की शपथ केवल तभी दिलाई जाएगी जब यह पुष्टि हो जाये कि आवेदक द्वारा सभ अपेक्षित दस्तावेज प्रस्तुत किये गए है। 

नामित अधिकारी ऑनलाइन प्रणाली पर प्रमणित करेगा कि  आवेदक कि  नागरिकता के लिए दस्तावेज मूल रूप में सत्यापित / देखे गए है। 

जिला स्तरीय समिति , प्रशासित निष्ठा की शपथ को भी ऑनलाइन प्रणाली में अपलोड करेगी और दस्तावेज के सत्यापन के सम्बन्ध में पुष्टि के साथ आवेदन को इलेट्रॉनिक रूप में अधिकार प्राप्त समिति को अग्रेषित करेगी। 

अधिकार प्राप्त समिति आवेदन की संवीक्षा करेगी और ऐसी जाँच करने के बाद जिसे वह आवश्यक समझती और सुरक्षा एजेंसियों क रिपोर्ट के आधार पर संतुष्ट होने पर , अधिकार प्राप्त समिति भारत की नागरिकता के लिए आवेदन का अनुमोदन / अस्वीकृत कर सकती है। 







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